स्थानीय दुकानदारों पर भारी पड़ रहा ऑनलाइन शॉपिंग का जोर

त्योहारी सीजन : तमाम कोशिशों के बाद भी स्थानीय बाजार में खरीदारी फीकी

सारंगपुर

त्यौहारी सीजन का महापर्व दीपोत्सव को अब कुछ ही दिन शेष है, बाजार में लोगों की आवाजाही तो बढ़ी है, लेकिन ऑन लाइन और मुख्य बाजार में अंतर होने के कारण स्थानीय बाजार से ऑन लाइन में उठाव नजर आ रहा है। हालांकि बाजार को ताकत देने के लिए व्यापारियों द्वारा कई प्रकार के जतन किए जा रहे है। शहर के बाजार पर ग्रामीण किसानों, लोगों के आने का इंतजार बना हुआ है।

मंदी की मार से जूझ रहा है बाजार

मालूम हो कि शहर का सदर बाजार पिछले कई सालों से मंदी की मार से जूझता रहा है। बाजार पर महंगाई के साथ युवाओं में बढ़ता ऑन लाइन चस्का हावी होता रहा है। जिसके कारण स्थानीय व्यापारियों को व्यवसाय बदलने तक का मन करना पड़ रहा है। कई लोगों ने रोजगार बदले है तो कई ने व्यवसाय बंद भी किए है। स्थानीय बाजार पर इन दिनों बढ़ रही महंगाई का जबरजस्त असर हुआ है। अब त्यौहारी सीजन में बाजार में उठाव की आस बनी हुई है। युवा पीढ़ी में ऑन लाइन खरीदी की जिद और लाभ की लालसा ने बाजार को प्रभावित किया है।

खरीफ फसल से बाजार में उठावः

बता दे कि पिछले दो सप्ताह से त्योहारों के चलते बाजार में चहल पहल एवं ग्रामीणों की अच्छी उपस्थिति देखी गई है। जिससे बाजार में उठाव की उम्मीद जाग रही है। किसानों द्वारा मंडी में उपजों को बेचकर बाजार में रूकने से बाजार में रोनक लौटती नजर आ रही है।

त्यौहारी सीजन से व्यापारियों को आसः

व्यापारियों का मानना है कि अगला एक पखवाडा बाजार को ताकत देने वाला होगा। दीपावली त्यौहार के चलते बाजार सजकर तैयार हो चुका है। इलेक्ट्रिक व्यापारी बताते है कि पिछले कई सालों से दीपावली का सीजन एक पखवाड़े तक सिमट चुका है। हालाकि इस साल नवरात्र से बाजार में रोनक बढ़ी है। बताया जा रहा है की कर्मचारियों को तनख्वाह मिलने के बाद बाजार में ग्राहकी बढ़ेगी। लोगों का कहना है की सबसे ज्यादा असर इलेक्ट्रानिक्स, ऑटो मोबाइल पर देखा जाता है, रोजमर्रा की वस्तुएं तो स्थानीय बाजार से खरीदी जाती है। व्यापारियों द्वारा ग्राहकों को आकर्षित करने के लिए ऑफरों की बरसात की जा रही है। यूं तो बाजार में जमकर बिक्री शुरू हो चुकी है। शोरूमों वालों को दीपावली का इंतजार रहेगा।